Wednesday, 30 August 2017

बाबा साहेब भीमराव अम्बेडकर


आज हम बात करेंगे एक ऐसे शख़्स की जिसका जन्म हुआ अछूत जाति में, लेकिन उसने दुखी होकर मरने से पहले धर्म बदल लिया. जिसने पूरी उम्र देश की अनुसूचित जातियों को हक दिलाने में बिता दी. लेकिन पूरे सफल ना हो सके. जी हम बात कर रहे है मेहनत, संघर्ष और सफलता की मिसाल डाॅ. भीमराव अम्बेडकर की. आइए इनके बारे में डिटेल से जानते है So let’s begin…

1. 14 अप्रैल 1891, के दिन मध्यप्रदेश के महू गांव में रामजी मालोजी सकपाल और भीमाबाई के घर चौदहवीं और आखिरी संतान पैदा हुई थी. नाम रखा गया ‘भीमराव अंबाडवेकर’. जो समय के साथ-साथ ‘बाबा साहेब भीमराव अम्बेडकर’ बन गया.

2. भीमराव अम्बेडकर हिंदू महार जाति के थे. जिसे अछूत माना जाता था.

3. अंबेडकर की शादी 1906 में नौ साल की रमाबाई से हुई थी. 1908 में वे एलफिंस्टन कॉलेज में दाखिला लेने वाले पहले दलित बच्चे बनें.

4. भीमराव अम्बेडकर करीब 9 भाषाएँ जानते थे. उन्होनें 21 साल तक लगभग सभी धर्मों की पढ़ाई भी की थी.

5. अंबेडकर के पास कुल 32 डिग्री थी. वो विदेश जाकर अर्थशास्त्र में P.H.D. करने वाले पहले भारतीय थे. नोबेल प्राइज जीतने वाले अमर्त्य सेन अर्थशास्त्र में इन्हें अपना पिता मानते थे.

6. भीमराव अंबेडकर पेशे से वकील थे. वो 2 साल तक मुंबई के सरकारी लाॅ काॅलेज में प्रिंसिपल भी बनें.

7. झंडे में अशोक चक्र लगवाने वाले भीमराव अम्बेडकर ही थे.

8. आजकल फैक्ट्रियों में 8 घंटे काम होता है ये सब भीमराव की ही देन है. इससे पहले 12-14 घंटे काम करना पड़ता था.

9. भीमराव अंबेडकर संविधान निर्माण करने वाली समिति के अध्यक्ष थे. इसलिए इनको संविधान का निर्माता कहा जाता है.

10. भीमराव अम्बेडकर आजाद भारत के पहले कानून मंत्री थे.

11. डाॅ. भीमराव, कश्मीर में लगी धारा 370 के बिल्कुल खिलाफ थे. सरदार पटेल और कांग्रेस भी इसके एंटी थे लेकिन इस धारा को लगवाने में नेहरूका हाथ था.

12. बाबा साहेब ने 50 के दशक में कहा था कि बिहार और मध्यप्रदेश का विभाजन कर दो. उस समय उनकी किसी ने नही सुनी. फिर सन् 2000 में विभाजन करना पड़ा और नए राज्य झारखंड व छतीसगढ़ बनें.

13. भीमराव अंबेडकर ने जिंदगी में 2 बार लोकसभा चुनाव लड़ा. लेकिन दोनों बार हारें.

14. जब अम्बेडकर को लगने लगा कि मैं हिंदू धर्म से जातिप्रथा दूर नही कर सकता तो उन्होनें गुस्से में एक बात कही थी ‘मैं हिंदू पैदा तो हुआ था लेकिन हिंदू मरूंगा नही’. और वही हुआ.

15. भीमराव अंबेडकर ने हिन्दू धर्म छोड़ते समय 22 वचन भरे थें. उन्होनें कहा था, मैं राम और कृष्ण, जो भगवान के अवतार माने जाते है, कि कभी पूजा नही करूंगा.

16. अम्बेडकर ने 1956 में अपना धर्म बदलकर बौद्ध धर्म अपना लिया था. जिसके कारण, उनके साथ लाखों दलितों ने ऐसा किया.

17. आखिरी दिनों में बी आर अंबेडकर डायबिटिज़ से बुरी तरह बीमार हो गए थे. 6 दिसंबर 1956 को दिल्ली में उनका निधन हो गया.

18. मौत के 34 सालों बाद 1990 में अंबेडकर को भारत का सबसे बड़ा पुरस्कार भारत रत्न दिया गया.

19. क्या देश में आरक्षण की शुरूआत भीमराव अंबेडकर ने की ?

Ans. दरअसल, देश में आरक्षण की शुरूआत अंबेडकर ने नही बल्कि कोल्हापुर के महाराजा छत्रपति साहूजी महाराज ने 1901 में पिछड़े वर्ग से गरीबी दूर करने के लिए की थी. उसके बाद ये चलता रहा और 1943 में अंबेडकर ने नेशनल लेवल पर अनुसूचित जातियों के लिए सरकारी नौकरियों और शिक्षा के क्षेत्र में आरक्षण की मांग की. ये सपना पूरा हुआ अंबेडकर के संविधान समिती का अध्यक्ष बनने के बाद. शुरूआत में सिर्फ 10 साल के लिए आरक्षण दिया गया. लेकिन उसके बाद से इसे बढ़ाया ही जा रहा है.

20. क्या गांधी ने अंबेडकर के पैर छुए थे ?

Ans. आज मौका भी है, दस्तूर भी है. सच जान लो. इंटरनेट पर ये तस्वीर खूब शेयर हो रही है जिसमें महात्मा गांधी अंबेडकर के पैर छूते नजर आ रहे है.दरअसल, ये दोनों अलग-अलग फोटो है. एक फोटो है अंबेडकर की अपनी फैमिली के साथ. दूसरी फोटो है साल 1930 की. जब गांधीजी डांडी मार्च के लिए धरती में से नमक उठा रहे थे. हुआ ये कि एक बंदे ने फोटोशाॅप से कलाकारी कर डाल और दोनों तस्वीरों को मिला दिया. कुल मिलाकर गांधी की अंबेडकर के पैर छूती तस्वीर झूठी है…

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